2024 का लोकसभा चुनाव अभी थोड़ा दूर है। उससे पहले 9 राज्यों के विधानसभा चुनाव होने वाले हैं। उसी सफलता की रणनीति बनाने के लिए भारतीय जनता पार्टी ने अपनी राष्ट्रीय कार्यकारिणी बैठक बुलाई। बैठक में प्रधानमंत्री मोदी पहुंचे, बीजेपी अध्यक्ष जेपी नड्डा पहुंचे, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह मौजूद रहे, राज्यों के मुख्यमंत्री और हजारों की संख्या में पार्टी कार्यकर्ता आए।
बीजेपी कार्यकारिणी में बोले जेपी नड्डा, 2023 है बेहद महत्वपूर्ण, जीतने होंगे 9 राज्यों के चुनाव – JP Nadda Said in BJP Executive 2023 is Very Important for Win 9 State in Elections
इस साल कई बड़े राज्यों में विधानसभा चुनाव होने वाले हैं। कर्नाटक, त्रिपुरा, नगालैंड, मेघालय, राजस्थान, तेलंगाना जैसे राज्यों में बीजेपी के लिए बड़ी चुनौती है। अब उसी रणनीति को लेकर बीजेपी ने अपनी कार्यकारिणी बैठक में मंथन किया है।
भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने सोमवार को पार्टी कार्यकर्ताओं से 2023 के लिए पूरी तरह से तैयार रहने को कहा। पार्टी की कार्यकारिणी बैठक के बाद उन्होंने कहा, ‘हमारे लिए 2023 बेहद महत्वपूर्ण है, हमें सभी 9 राज्यों में जीत हासिल करनी है।’उन्होंने सभी कार्यकर्ताओं से आगामी चुनावों के लिए कमर कसने का अह्वान किया और कहा कि एक भी चुनाव नहीं हारना है। इसके साथ ही नड्डा ने यह भी याद दिलाया कि अगले साल 2024 का चुनाव है।
चुनावी रणनीति और बूथ मैनेजमेंट पर फोकस:
भाजपा अध्यक्ष ने आगे कहा, ‘जहां हमारी सरकार हैं वहां पार्टी को मजबूत किया जाए और जहां सरकार नहीं है वहां पार्टी को और मजबूत किया जाए।’ दरअसल, जेपी नड्डा स्पष्ट सन्देश देना चाहते थे कि एक भी राज्य का चुनाव नहीं हारना है। उन्होंने पहले भी कहा था कि हमें कमजोर बूथों को जीतना है। इसी के मद्देनजर ऐसे कमजोर 72000 बूथ चिन्हित किये गए थे, जहां पार्टी को और मजबूत होना था।
नड्डा की बातों को लेकर एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में भाजपा सांसद रविशंकर प्रसाद ने कहा, ‘देशभर के 100 लोकसभा क्षेत्रों में 72 हजार बूथ चिह्नित किए गए थे जहां भाजपा कमजोर थी और जहां हमें पहुंचना था, लेकिन हम 1 लाख 30 हजार बूथों तक पहुंचे और पार्टी की नीतियों का प्रसार किया।’ उन्होंने कहा, ‘दयानंद सरस्वती जी के 200 वर्ष पूर्ण होने के अवसर पर 13 फरवरी को एक विशाल कार्यक्रम का आयोजन किया जाएगा। सरस्वती जी के आदर्शों पर चलते हुए, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में देश में अंतिम छोर पर खड़े व्यक्ति को सशक्त करने का कार्य किया गया है।’