आँखों की रोशनी के लिए घास पर नंगे पैर चलने की सलाह तो हर किसी ने सुनी होगी। इसके आलावा भी सुबह-सुबह नंगे पांव हरी घास पर चलने के अनेको फायदे हैं। एक रिसर्च के मुताबिक इससे मन को शांति मिलती है और बीपी, डायबिटीज की समस्या भी कम होने लगती है। चलिए जानते घास पर चलने के फायदों के बारे में विस्तार से पढ़ते है।
सुबह हरी घास पर चलने के असरदार फायदे – Benefits of Walking on Grass
पहले के लोग ऐसा करते थे लेकिन आधुनिक भागदौड़ भरी जिंदगी में ऐसा बहुत कम लोग ही कर पाते हैं। किसी के पास समय नहीं रहता। व्यस्त समय से सुबह का कुछ पल निकाल कर यदि आप हरी घास पर नंगे पांव चलेंगे तो इसके कमाल के फायदे होंगे। आज के लोग अब तक के सबसे खराब समय में रह रहे हैं क्योंकि पर्यावरण और धरती के साथ उनका जुड़ाव नहीं है।
घास पर चलने के फायदे
1. आंखों के लिए मददगार-
यह सबको पता है कि हरी घास पर नंगे पांव चलने से आंखों की रोशनी बढ़ती है। घास पर नंगे पांव चलने से पैरों के दूसरे और तीसरे टखने पर सबसे अधिक दबाव पड़ता है। इन टखनों का सीधा कनेक्शन आंखों से जुड़ा हुआ है, इसलिए नंगे पांव चलना आंखों की हेल्थ के लिए बहुत फायदेमंद है।
2. सूजन कम होगी –
जब हमारी कोशिकाओं में फ्री रेडिकल्स भरने लगते हैं तो इनमें सूजन होने लगती है। कोशिकाओं में सूजन कई बीमारियों की जड़ है। हरी घास पर नंगे पांव चलने से शरीर के अंग सक्रिय हो जाते हैं और सूजन को दूर करते हैं। बाहर चलने से शरीर को धूप मिलती है जिससे विटामिन डी प्राप्त होता है।
3. सुकून की नींद –
अगर आप नंगे पांव घास पर चलते हैं तो रात को आपको सुकून भरी नींद आएगी। घास पर नंगे पांव चलना एक तरह से स्लीपिंग पिल का काम करेगा। प्रत्येक सुबह आधे घंटे का नंगे पांव मॉर्निंग वॉक पूरे स्लीपिंग पैटर्न में सकारात्मक बदलाव लाएगा।
4. मानसिक कल्याण में सुधार करता है –
सुबह-सुबह नंगे पैर घास पर चलने से दिमाग शांत रहता है। सुबह ताजा हवा, सूरज की रोशनी, हरियाली दिमाग को तरोताजा कर देती है। इस वातावरण में रहने से आप काफी रिलेक्स और डिप्रेशन से दूर रहते हैं। मानसिक स्वास्थ्य की बेहतरी के लिए नंगे पैर घास में चलने का प्रयास करना चाहिए।
5. हार्ट डिजीज नहीं होने देगा –
सुबह में हरी घास पर नंगे पांव चलने का सबसे बड़ा फायदा यह है कि हार्ट बीट और ब्लड प्रेशर संतुलित रहता है जिसके कारण हार्ट डिजीज का जोखिम बहुत कम हो जाता है।
6. एलर्जी का इलाज –
ग्रीन थेरेपी का मुख्य अंग है हरी-भरी घास पर नंगे पैर चलना या बैठना। सुबह-सुबह ओस में भीगी घास पर चलना बहुत बेहतर माना जाता है। जो पांवों के नीचे की कोमल कोशिकाओं से जुड़ी तंत्रिकाओं द्वारा मस्तिष्क तक राहत पहुंचाता है।
7. मधुमेह रोगियों के लिए खास –
मधुमेह रोगियों के लिए हरियाली के बीच बैठना, टहलना और उसे देखना बहुत अच्छा माना जाता है। ऐसे लोगों में कोई भी घाव आसानी से नहीं भरता, परंतु मधुमेह रोगी यदि हरियाली के बीच रह कर नियमित गहरी सांस लेते हुए टहले तो शरीर में ऑक्सीजन की पूर्ति होने से समस्या से निजात पाया जा सकता है।
8. हृदय स्वास्थ्य को नियंत्रित करता है –
उपरोक्त अध्ययन से यह भी पता चलता है कि घास पर नंगे पैर चलना आपके दिल की धड़कन को सिंक्रनाइज़स (synchronize) करने में मदद करता है। आपके शरीर के तापमान को नियंत्रित करने से लेकर हार्मोन स्राव तक, सब कुछ इस पर निर्भर करता है। साथ ही आपका हृदय स्वास्थ्य भी बना रहता है, क्योंकि शरीर के अन्य अंग अच्छी तरह से काम करते हैं।
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