Earthquake: Why earthquake tremors are coming again and again from Nepal to Delhi? Sound of great danger in these states.
नेपाल में मंगलवार की दोपहर एक बार फिर से भूकंप के तेज झटकों ने सबको हिलाकर रख दिया। दिल्ली एनसीआर समेत पूरे उत्तर भरत में भी इस भूकंप का असर देखने को मिला। नेशनल सेंटर फॉर सिसमोलॉजी (NCS) के अनुसार, इस भूकंप का केंद्र नेपाल ही था। रेक्टर स्केल पर इसकी तीव्रता 5.8 आकी गई है।
दिल्ली NCR में दोपहर को भूकंप के बहुत से झटके महसूस किए गए हैं। या उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड में भी कई जगहों पर भूकंप के झटके महसूस किए गए हैं। उत्तराखंड की राजधानी देहरादून, पिथौरागढ़, अल्मोड़ा में भी भूकंप के झटके महसूस किए गए हैं। झटके इतने तेज थे कि घरों दफ्तरों में लोगों ने इन्हें महसूस किया है। हालांकि अभी तक जान माल के नुकसान की कोई खबर सुनने को नहीं आई है।
Earthquake: नेपाल से दिल्ली तक बार-बार क्यों आ रहे भूकंप के झटके?इन राज्यों में बड़े खतरे की आहट।
उत्तर-भारत और नेपाल में बार-बार भूकंप आने को लेकर आईआईटी कानपुर की रिसर्च में बड़ा दावा किया है। इसके अनुसार, भारत के हिमालयन राज्यों में कभी भी भयावह भूकंप आ सकता है। यह भूकंप 1505 और 1803 में आए भूकंप जैसा हो सकता है। आइए जानते हैं कि आईआईटी की रिसर्च में क्या-क्या मालूम चला है? कौन से वो दो राज्य हैं, जहां भूकंप का केंद्र हो सकता है? नेपाल में आए भूकंप की क्या वजह है? दिल्ली एनसीआर में क्यों बार-बार भूकंप के झटके आ रहे हैं? आइए जानते हैं।
इसे समझने के लिए हमने आईआईटी कानपुर सिविल इंजीनियरिंग विभाग के सीनियर प्रोफेसर और जियोसाइंस इंजीनियरिंग के विशेषज्ञ प्रो. जावेद एन मलिक से बात की। उन्होंने कहा, ‘2015 में भी नेपाल में 7.8 से 8.1 तीव्रता वाले भूकंप के झटके आए थे। तब आठ हजार से ज्यादा लोगों की मौत हो गई थी, जबकि 20 हजार से ज्यादा लोग घायल हो गए थे। उस वक्त भूकंप का केंद्र पूर्वी नेपाल था। यही कारण है कि भारत पर इसका असर नहीं पड़ा था। हालांकि, हिमालय रेंज में टेक्टोनिक प्लेट अस्थिर हो गई है। इसके चलते अब लंबे समय तक इस तरह के भूकंप आते रहेंगे। इस बार आए भूकंप का भी यह एक बड़ा कारण है। नेपाल में ये झटके उत्तराखंड से सटे हिमालयन रेंज पर आते हैं। यही कारण है कि इसका असर दिल्ली एनसीआर तक देखने को मिलता है।
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